झांसी । बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के अर्थशास्त्र एवं वित्त विभाग के द्वारा “जर्मनी एवं यूरोप में उच्च शिक्षा एवं शोध अवसर” विषय पर अंतरराष्ट्रीय वेबीनार का आयोजन किया गया । कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए प्रोफेसर सीबी सिंह ( विभाग अध्यक्ष एवं कला अधिष्ठाता ) ने भारतीय संस्कृति के अनुरूप संस्कृत श्लोकों के साथ कर्म की महत्ता पर प्रकाश डाला व विभाग एवं विश्वविद्यालय की उपलब्धियां बताई।
कार्यक्रम की मुख्य वक्ता ‘निकेता देधिया’ (प्रिंसिपल कंसलटेंट एवं जर्मनी व यूरोप में उच्च शिक्षा एवं शोध अवसरों की विशेषज्ञ) ने विस्तार से जर्मनी में अध्ययन एवं रोजगार के अवसरों के बारे में बताया। उन्होंने बदलते परिदृश्य में जर्मनी में पढ़ाई की प्रासंगिकता को रेखांकित किया। जर्मनी वैश्विक स्तर पर इंजीनियरिंग तथा विज्ञान के साथ-साथ कला, वाणिज्य, प्रबंधन, भाषा विज्ञान , मीडिया आदि क्षेत्रों में भी अग्रणी है एवं अनेक कोर्स संचालित करता है। यहां के विश्वविद्यालयों ने अनेक नोबेल विजेताओं को जन्म दिया है एवं उद्योगों को सुदृढ़ किया है। उन्होंने वहां के विश्वविद्यालयों के कोर्स- पैटर्न, एडमिशन प्रक्रिया, वीजा प्रक्रिया एवं खर्चों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी दी । वेबीनार में भूमि सिंह , अभिषेक यादव, श्रीप्रिया, इरम खान, शिवम साहू एवं पंकज गुप्ता द्वारा प्रश्नोत्तर श्रंखला में प्रश्न पूछे गए जिनका मुख्य वक्ता द्वारा विस्तार से समाधान किया गया। कार्यक्रम की मॉडरेटर डॉ इरा तिवारी एवं संचालक डॉ अंकिता जैस्मीन लाल रही । वेबीनार में डॉ यशोधरा शर्मा , डॉ अतुल गोयल, डॉ फुरकान मलिक, डॉ राधिका कुरील, डॉ संदीप अग्रवाल, डॉ शिल्पा मिश्रा,डॉ अमिताभ गौतम, डॉ रजत कंबोज, डॉ गजाला अहमद, विजेंद्र सिंह, बबीता सिंह एवं शिविका भटनागर का विशेष योगदान रहा। तकनीकी संचालन करने के साथ-साथ आभार डॉक्टर शंभू नाथ सिंह ने माना।












