झाँसी। हजरत करामत अली शाह सैयद सिग्नल शाह बाबा रहमतुल्लाह अलेह की दरगाह पर 103 वां उर्स समारोह का शुभारंभ मुख्य अतिथि समाजसेवी डॉ० संदीप सरावगी ने किया।

उर्स समारोह में जुनैद सुल्तानी एवं बाबू गुलाम साबरी द्वारा कव्वालियों की शानदार प्रस्तुति की गई पुलिया नंबर 9 मैदान में उपस्थित हजारों की संख्या में दर्शक अली और बजरंगबली पर आधारित कव्वालियों को सुनकर खुशी से झूम उठे। कार्यक्रम में डॉ संदीप सरावगी ने हिंदुस्तान जिंदाबाद के नारों के साथ कहा यह उर्स हिंदू मुस्लिम एकता का प्रतीक है। सबसे बड़ा धर्म एकता और इंसानियत का होता है जहां देश की बात हो वहां हमें अपने धर्म और जाति के बंधनों से मुक्त होकर देश की अखंडता के लिए कार्य करना चाहिए। डॉ० संदीप ने बताया कि हमारा राष्ट्रीय ध्वज भी धार्मिक एकता का प्रतीक है ऊपर का केसरिया रंग हिंदू धर्म, मध्य में सफेद रंग ईसाई धर्म और नीचे का हरा रंग मुस्लिम धर्म एवं चक्र का गहरा नीला रंग सिक्ख धर्म का प्रतीक है। जब हर धर्म के लोग मिलकर देश के विकास में सहयोग करेंगे तभी हमारा देश भारत संपूर्ण विश्व में विश्व गुरु के नाम से जाना जाएगा।

कार्यक्रम को सफल बनाने में उर्स कमेटी के अध्यक्ष इम्तियाज हुसैन, हाजी नगीना, एच पी पटेल, मुमताज हुसैन, मोहम्मद इब्राहिम, अनीश खान, नसीम बाबू, अन्ना भाई, अब्दुल गनी, हमीद मंसूरी, फैजल हुसैन, आरिफ, समीर खां, जावर खान, इकराम उल्लाह खान, रहूफ अब्बासी, गुलफाम अब्बासी, रहमत अली शाह आदि उपस्थित रहे। इस अवसर पर संघर्ष सेवा समिति से मनोज रेजा, संदीप नामदेव, महेंद्र रायकवार, राजू सेन, प्रमेंद्र सिंह, करन सिंह, सुशांत गेड़ा, राकेश अहिरवार, विनोद वर्मा, उमेश प्रजापति, एहसान खान आदि उपस्थित रहे।