राष्ट्र पुनर्निर्माण में अभाविप की भूमिका पर हुआ वेबिनर
झाँसी। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के 72 वें स्थापना दिवस के अवसर पर झांसी महानगर इकाई द्वारा “राष्ट्र पुनर्निर्माण में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की भूमिका” विषय पर वेबीनार आयोजित किया गया। इसकी अध्यक्षता करते हुए प्रोफ़ेसर वंदना पांडे, चेयरमैन, डिपार्टमेंट ऑफ कम्युनिकेशन एंड मीडिया स्टडीज, गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय, ग्रेटर नोएडा, ने कहा की अभाविप विश्व का सबसे बड़ा छात्रा संगठन है. राष्ट्रीयता की चेतना का आमजन में प्रसार एवं भारतीय मूल्य आधारित जीवन पद्धति को आत्मसात करना ही अभाविप के कार्यकर्ता का उदेश्य है. उन्होंने कहा की अभाविप का कार्यकर्ता अनुशासन में रहते हुए अपने दायित्वों को अनुपालन कर्ता है. छात्र और शिक्षक के बीच आदर्श व्यवहारिकता के साथ सम्बन्ध बना कर कम करना ही अभाविप का दर्शन है. मुख्य अतिथि, प्रोफेसर योगेंद्र प्रताप सिंह, हिंदी एवं आधुनिक भाषा विभाग, इलाहाबाद विश्वविद्यालय एवं पूर्व राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य अभाविप ने कहा की राष्ट्रीयता का कोई पाठ्यक्रम नहीं है, न ही ये एकल भावना की परिचायक है। इसमें सामूहिकता निहित है. इसीलिए अभाविप एक संगठन के रूप में इस सामूहिकता को बढावा देता है. भारत की संस्कृति में ‘ज्ञान को ही मोक्ष’ का साधन मन गया है. विध्यार्थी परिषद् के दर्शन में ही ये समाहित है. ये ज्ञान, शील, और एकता के आदर्श को साथ लेकर चलने वाला संगठन है. ये सत्ता के पीछे नहीं वरन सत्ता को मार्ग दिखाने का कार्य करता है. मुख्य वक्ता के रूप में डॉ यतींद्र सिंह, डीएवी कॉलेज, कानपुर विश्वविद्यालय एवं अध्यक्ष कानपुर प्रांत अभाविप ने कहा की 9 जुलाई 1949 को स्थापित इस दिवस को अभाविप राष्ट्रीय छात्र दिवस के रूप में मनाता है. अपनी 72 वर्षों की यात्रा में अभाविप ने अनेकों जनआंदोलन कर राष्ट्र की एकता और भारतीय संस्कृति की रक्षा के प्रण का पालन किया है. कोरोना संकट में अभाविप के प्रत्येक कार्यकर्ता ने लोगों को हर संभव सहायता प्रदान की है. ये संगठन वर्ष के 365 दिन और 24 घंटे काम करने वाला संगठन है. विषय की प्रस्तावना राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य  एवं झांसी विभाग संगठन मंत्री श्री अजय यादव ने रखी। आभार डॉक्टर श्री हरि त्रिपाठी, हिंदी विभाग बुंदेलखंड विश्वविद्यालय एवं अध्यक्ष झांसी महानगर अभाविप ने प्रकट किया अतिथियों का स्वागत एवं संचालन डॉ कौशल त्रिपाठी, समन्वयक, पत्रकारिता विभाग, बुंदेलखंड विश्वविद्यालय एवं झांसी महानगर उपाध्यक्ष ने किया।