– रेपिस्टों के चंगुल से भागी पीड़ित पहुंची जीआरपी थाने, पकड़े गए

– भोपाल के प्लेटफार्म नंबर-1 के वीआईपी रेस्ट रूम में लूटी अस्मत

– शराब की खाली बोतल व आपत्तिजनक सामान के साथ रूम को किया सील

भोपाल (मप्र)। रेलवे में नौकरी का झांसा देकर भोपाल स्टेशन पर वीआईपी रेस्ट रूम में रेलवे के दो अफसरों ने दिनदहाड़े बेरोजगार नवयुवती से बलात्कार किया। अस्मत लुटने के बाद अफसरों के चंगुल से छूटी पीड़ित की सूचना पर जीआरपी ने घटनास्थल का निरीक्षण किया और शराब की खाली बोतल व आपत्तिजनक सामान के साथ रूम को किया सील। इसके साथ ही पीड़ित का मेडिकल करा कर दोनों आरोपियों एसएसई (कैवै) सेफ्टी भोपाल राजेश तिवारी व एसएसई/विद्युत/भोपाल अरूण मालवीय को पकड़ लिया। दोनों आरोपी कर्मचारियों की यूनियन के पदाधिकारी भी है। drm ने जाँच के आदेश दिए है।

बताया गया है कि उप्र के जिला महोबा निवासी 22 वर्षीय नव युवती नौकरी की तलाश में थी। इस दौरान एक आरोपी की लड़की से पहचान फेसबुक पर हुई थी, वह उसे जॉब दिलाने का लालच देता रहता था। उसके नौकरी के धोखे में फंसकर वह महोबा से झांसी आकर 26 सितंबर को भोपाल एक्सप्रेस  से भोपाल स्टेशन पर पहुंच गई। वहां आरोपी पीड़ित लड़की को लेकर भोपाल रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म क्रमांक 01 पर स्थित रिटायरिंग रूम नं. 02 में पहुंचा और वहां रुकवाया। कुछ देर बाद दूसरा साथी भी पहुंच गया। वहां लड़की को नौकरी लगवाने की बात कह कर बहलाते रहे। इस दौरान दोनों ने शराब पी और बातचीत के दौरान लड़की को खाने में नशीला पदार्थ मिलाकर दे दिया गया। इसके बाद दोनों ने नशा होने पर लड़की के साथ ज़बरदस्ती गैंगरेप किया। अस्मत लुटा चुुुकी लड़की दोनों के चंगुल से छूटकर जीआरपी थाने पहुंची और अपने साथ हुई सामूहिक दुष्कर्म की दास्तां सुनाई। यह पता चलने के बाद भोपाल एसआरपी हितेश चौधरी  से लेकर तमाम आला अफसर थाने पहुंच गए। युवती के विस्तृत बयान दर्ज करने के बाद तुरंत उस कमरे में दबिश दी गई, जहां युवती के साथ गैंगरेप की घटना हुई थी।

कमरे में लगभग 15.00 से 16.00 बजे के आस-पास हुई इस सामूहिक दुष्कर्म की जीआरपी भोपाल द्वारा रिपोर्ट दर्ज कर कमरे का निरीक्षण किया। जीआरपी ने घटनास्थल पर शराब की खाली बोतल व आपत्तिजनक सामान देख कर उसके साथ रूम को किया सील। रेलवे एसपी हितेश चौधरी के अनुसार लड़की उत्तर प्रदेश के महोबा जिले की रहने वाली है। रेलवे में अधिकारी राजेश तिवारी से वह कुछ महीने पहले फेसबुक के जरिए संपर्क में आई थी। दोनों के बीच होने वाली बातचीत में राजेश उसे जॉब दिलाने का ऑफर देता था। तय हुआ था कि लड़की भोपाल आएगी। यहां उसे नौकरी दिला दी जाएगी। भोपाल स्टेशन पर योजना के अंतर्गत उसके साथ गैंगरेप किया गया। गैंगरेप की पुष्टि मेडिकल रिपोर्ट में हो गई है।

जीआरपी ने भोपाल के गोविंद गार्डन ऐशबाग निवासी आरोपी राजेश तिवारी को हिरासत में लिया गया। उसकी निशानदेही पर रेलवे के रुम से शराब की बोतल समेत कई अन्य सामग्री जब्त की गई। आरोपी राजेश तिवारी  पूछताछ में गैंगरेप की घटना को कबूल चुका है। उसने बताया कि वारदात में उसका साथ रेलवे के इंजीनियर आलोक मालवीय भी था। आलोक मालवीय को शनिवार रात हिरासत में लिया गया है। राजेश तिवारी भोपाल रेलवे स्टेशन में सैफ्टी काउंसलर के पद पर था।

विवादों में रहा है राजेश तिवारी

राजेश तिवारी भोपाल शहर के लिए शुरु से ही विवादों में रहा है। उसकी नौकरी को लेकर भी सवाल खड़े होते रहे हैं। भोपाल में एक जमाने में रेलवे भर्ती बोर्ड भोपाल हुआ करता था। उस बोर्ड में कुछ साल पहले हंगामा हुआ था। जिसकी अगुवाई राजेश तिवारी ने की थी। हंगामे को शांत करने के लिए रेलवे के अफसरों ने राजेश तिवारी को मैनेज किया था। इस घटना के कुछ महीनों बाद उसकी नौकरी लग गई थी। भारतीय प्रशासनिक सेवा के एक अफसर का राजेश तिवारी मुंह भी लगा हुआ था। राजेश तिवारी को कुछ साल पहले रेलवे की सेवा से बर्खास्त कर दिया गया था। जिसे भारतीय प्रशासनिक सेवा के अफसर ने दोबारा बहाल कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। यह अफसर मध्य प्रदेश में पर्यटन, एविएशन समेत कई महत्वपूर्ण पदों पर भी तैनात रहे।राजेश तिवारी रेलवे यूनियन WCRMS का मंडल सहसचिव है। दूसरा आरोपी भी रेल्वे की यूनियन का नेता है। दोनों से पूछताछ की गई है।