झांसी। हत्या का दोष सिद्ध होने पर विशेष न्यायाधीश (द०प्र०क्षे०अधि०), सुयश प्रकाश श्रीवास्तव की अदालत में दो भाईयों सहित एक ही परिवार के चार अभियुक्तों को आजीवन कारावास की सज़ा सुनाई गई।

विशेष अधिवक्ता विपिन कुमार मिश्रा के अनुसार वादी मुकदमा शान्ति देवी ने थाना प्रेमनगर पर विगत 02 जुलाई 2002 को लिखित तहरीर देते हुए बताया था कि वह हरिजन महिला है तथा ग्राम नया गांव रूद्र बलौरा थाना प्रेमनगर क्षेत्र की निवासी है। उसके पति
घमंडी अहिरवार, लोको शेड रेलवे विभाग में खलासी के पर नौकरी करते थे । ग्राम नयागांव के ही करतार सिंह, परमाल सिंह, बल्लू पुत्रगण स्व० बादाम सिंह
ठाकुर व इनके चाचा मजबूत सिंह, लखन पुत्रगण भैयालाल ठाकुर तथा धर्मेन्द्र पुत्र लखन ठाकुर एक ही परिवार के सदस्य है तथा बहुत ही आपराधिक प्रवृत्ति के व्यक्ति है । करतार सिंह आदि के विरूद्ध दर्जनों संगीन आपराधिक मामले अदालतों में चल रहे है तथा यह लोग कई बार जेल जा चुके हैं । इन लोगों का गांव में व आस पास के गांवों में काफी भय व आतंक व्याप्त है जिसकी वजह से उपरोक्त करतार सिंह आदि गांव के सीधे साधे लोगों को डरा धमका कर व मारपीट कर जबरदस्ती रूपया वसूलते है। 29 जून 2002 को उसके पति घमण्डी रेलवे लोको शैड से डियूटी करके शाम को अपने घर पहुंचे और वह लड़का सुरेश,सुरेश की पत्नी श्रीमती अनीता आदि घर में बैठे हुये थे । उसी समय करतार सिंह, परमाल सिंह, बल्लू, मजबूत सिंह, लखन एवं धर्मेन्द्र अपने-अपने हाथों में लाठियां लेकर उसके घर आये और करतार सिंह ने पति घमण्डी को जाति सूचक शब्दों से अपमानित कर कहा कि तुझसे 20 दिन पूर्व अपनी बहनों की शादी के लिये 20 हजार रूपया मांगा था लेकिन
तूने मात्र 2000 रूपया ही दिया था अगर अपनी जान की खैरियत चाहता है तो शेष 18000 रूपया आज अभी दे दो वर्ना जान से मार देंगे । उसके पति ने इतनी बड़ी रकम देने में असमर्थता जाहिर की तो करतार सिंह आदि सभी लोग पति घमंडी को घर के अन्दर घुस कर लात घूसों से मारने लगे। वह , उसका लड़का सुरेश व बहू
अनीता चिल्लाये उपरोक्त करतार सिंह आदि मेरे पति घमण्डी को जबरदस्ती पकड़ करअपने साथ ले गये और करतार सिंह के घर में ले जाकर उक्त लोग लाठी डण्डो से बेरहमी से मारने लगे। वह , उसका लड़का सुरेश व बहू श्रीमती अनीता तथा गांव के अन्य लोगों ने घटना देखी और बीच बचाव के लिये चिल्लाये तो करतार सिंह आदि ने हम लोगों को भी जान से मारने की धमकी दी और मारने झपटे तो वह लोग डरकर अपने घर लौट आये । थोड़ी देर में करतार सिंह आदि पति को मृत अवस्था में घर के दरवाजे के सामने फेंककर जान से मारने की धमकी देकर भाग गए। इस वारदात से गांव में आतंक फैल गया और अफरा-तफरी मच गयी ।
तहरीर के आधार पर थाना प्रेमनगर पर नामजद अभियुक्तगणों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया। विवेचना उपरांत आरोप पत्र न्यायालय में पेश किया गया, दौरान मुकदमा अभियुक्त करतार सिंह एवं परमाल सिंह की मृत्यु होने के कारण उनके विरूद्ध प्रस्तुत वाद की कार्यवाही उपशमित की गयी । शुक्रवार को मामले में सुनवाई के दौरान विशेष अधिवक्ता श्री मिश्रा कहा कि अभियुक्तों द्वारा वादिनी मुकदमा के पति की मारपीट कर उसकी हत्या की गई। जघन्य अपराध के लिए अभियुक्तों को कठोर से कठोर दण्ड दिया जाये।
मामले के तथ्य एवं परिस्थितियो को दृष्टिगत रखते हुये न्यायालय द्वारा दोष सिद्ध अभियुक्त बल्लू उर्फ बलवन्त पुत्र स्व० बादाम सिंह, मजबूत सिंह पुत्र भैयालाल, लखन पुत्र भैयालाल,धर्मेन्द्र पुत्र लखन उर्फ बलवन्त प्रत्येक को धारा-147 व 148 भाद०स० के अपराध के लिये 03 वर्ष के कठोर कारावास ,धारा-452 भान्द०स० में 07 वर्ष के कठोर कारावास एवं 05 हजार रूपये अर्थदण्ड, धारा-387 भा०द०स० में 07 वर्ष के कठोर कारावास एवं 05 हजार रूपये अर्थदण्ड से,धारा-352 भान्द०स० में 01माह के कठोर कारावास , धारा-302 सपठित धारा- 149 भादंसं के अपराध में आजीवन कारावास एवं 10 हजार रूपये के अर्थदण्ड , धारा-506 भान्द०स० के अपराध में 02 वर्ष के कठोर कारावास तथा धारा- 3(2) 5 अनुसूचित जाति/ अनुसूचित जन जाति(अत्याचार निवारण) अधिनियम के अपराध में आजीवन कारावास एवं 10 हजार रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया।