– बरोनी को थ्रू लाइन पर ले जाने के लिए दिया सिग्नल, उस लाइन से गुजर रही थी मालगाड़ी

Gwalior / Jhansi । ग्वालियर स्टेशन पर गुरुवार की रात लगभग 9.45 बजे उस वक्त बड़ा हादसा टल गया, जब थ्रू लाइन पर बरोनी मेल को लाने का सिग्नल दे दिया, किंतु उसी दौरान मालगाड़ी को भी गुजार दिया। मालगाड़ी के आने से बरोनी मेल डेड लाइन पर चली गई। जिससे उसके पीछे के दो डिब्बे पटरी से उतर गए। डेड लाइन पर रखे स्लीपर से टकराने के बाद ट्रेन रुक गई। इस कारण डाउन लाइन पर यातायात प्रभावित हो गया। ओएचई लाइन बंद होने से बुंदेलखंड एक्सप्रेस प्लेटफार्म नंबर तीन पर खड़ी रही। डाउन लाइन पर ट्रेफिक बहाल करने के लिए राहत कार्य किया गया।

दरअसल, बरोनी मेल को परिवर्तित मार्ग से चलाया जा रहा है। यह ट्रेन झांसी के स्थान पर कानपुर, इटावा, भिंड मार्ग से होते हुए ग्वालियर आ रही है। इसी क्रम में गुरुवार को ट्रेन रात 9:45 बजे ग्वालियर स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर दो पर पहुंची। यात्रियों के ट्रेन से उतर जाने के बाद ट्रेन को मेंटेनेंस के लिए यार्ड में ले जाया जा रहा था। इस ट्रेन को बैक करते हुए डाउन लाइन की थ्रू लाइन पर लेना था।

इसके लिए सिग्नल मिलने के बाद लोको पायलट ने ट्रेन को बैक करना शुरू कर दिया। वहीं दूसरी ओर दिल्ली की ओर जाने वाली मालगाड़ी को भी लाइन दे दी गई। इससे मालगाड़ी भी थ्रू लाइन पर आ कर गुजर रही थी। इस में थ्रू लाइन का पाइंट नहीं बदला और बरोनी मेल डेड लाइन पर चली गई। इससे दो डिब्बे पटरी से उतर गए। संयोग से एक बड़ी घटना होने से टल गई क्योंकि बरोनी मेल थ्रू लाइन पर पहुंच जाती तो तेज गति से जा रही मालगाड़ी से टकरा जाती, जिससे रेलवे को बड़ी क्षति हो जाती। इस दुर्घटना की सूचना झांसी मंडल मुख्यालय को मिलते ही अफरा तफरी मच गई और आनन फानन में राहत गाड़ी भी मौके पर पहुंच गई। अवरुद्ध डाउन लाइन को शुरू करने के लिए बरोनी मेल के दुर्घटना ग्रस्त दोनों डिब्बों को अलग किया गया।

स्टेशन पर मौजूद कर्मचारियों ने प्राथमिक पड़ताल की, उसमें आरआरआइ व लोको पायलटों की गलती सामने आ रही है। किस स्तर पर गलती हुई है इसके आंकलन के लिए तकनीकी टीम जांच पड़ताल कर रिपोर्ट देगी।

झांसी से पहुंची टीम ने की हादसे की जांच : ग्वालियर स्टेशन पर हुए बरोनी मेल हादसे की जांच के लिए शुक्रवार को झांसी मंडल से जांच दल पहुंच गया। दल ने दुर्घटना के कारणों की गहराई से जांच पड़ताल शुरू कर दी क्योंकि स्टेशन पर जो हादसा हुआ है, वह काफी गंभीर है। थ्रू लाइन पर दो ट्रेनों को लाइन दे दिया था, यह गंभीर चूक है। मालगाड़ी के आने से बरोनी मेल डेड लाइन पर चली गई। जिससे पीछे दो डिब्बे पटरी से उतर गए। डेड लाइन पर रखे स्लीपर से टकराने के बाद ट्रेन रुक गई।

गंभीर श्रेणी में आती है ऐसी गलती : स्टेशन पर जो हादसा हुआ है, वह गंभीर गलती की श्रेणी में आती है। इसमें जिस कर्मचारी की गलती निकलेगी, उसे बड़ी सजा मिलेगी। क्योंकि डेड लाइन पर हादसा विशेष परिस्थियों में ही होता है।