चिन्मय मिशन झांसी के ज्ञान यज्ञ का श्रद्धापूर्वक समापन
झांसी। चिन्मय मिशन झांसी के ज्ञान यज्ञ में समापन दिवस पर प्रवचन करते हुए बोकारो से आयी मुख्य प्रवचनकर्ता स्वामिनी संयुक्तानंदा ने भक्ति योग गीता प्रवचन में बताया कि उनके भक्त सूर्य की तरह सम दृष्टि जैसी मित्रता वाले, करूणावान, सबके प्रति प्रेम, अपेक्षा रहित होते हैं। भगवान अपने भक्तों को बंधन मुक्त करते है।
सुबह भगवान शंकराचार्य रचित धन्याष्टकम के समापन प्रवचन में उन्होंने कहा कि वो साधक धन्य है जो ईश्वर चिंतन में रमण करते है, जो मुक्ति की इच्छा रख मुमुक्षु है या जो स्थिर चित्त अनन्य महात्माओं के सत्संग में विचरते हैं।
प्रारम्भ में दीप प्रज्वलन डॉ प्रमोद गुलाटी, ब्रह्मचारी राघवेन्द्र, डॉ साकेत सक्सेना, डॉ मणि गोयल, श्री प्रकाश अग्रवाल, विनय गुप्ता, सचिव ईo मुकेश गुप्ता द्वारा किया गया। आरती में डॉ सीपी गुप्ता, मीना सोनी, रजनी गुप्ता, चंद्रा अरोड़ा, शीला गुप्ता, मेघना गुप्ता, रामश्री गुप्ता, नूपुर, कुसुम सेठ, कृष्णा सक्सेना, सविता साहू आदि शामिल रहे।
इस ज्ञान अमृत का लाभ लेने हेतु आज 450 से अधिक साधकों से साथ अध्यक्ष डॉ प्रमोद गुलाटी, कार्यकारी अध्यक्ष श्री आर पी गुप्ता, श्री हरीश अग्रवाल, वी के सेठ, आशीष सक्सेना, ओमप्रकाश गुप्ता, आरके धवन, एस न मोर, प्रकाश गुप्ता, एस एस गुप्ता, डॉ के के साहू, मनोहर लाल सिरोठिया, एस न गुप्ता, ई पी एन गुप्ता, स्वतंत्र गुप्ता, मोहन लाल गुप्ता, आदि साधक उपस्थित रहे। साधकों के लिए मधुर प्रसाद प्रायोजन अपर्णा दुबे व शीला गुप्ता द्वारा किया गया। चिन्मय मिशन सचिव ईo मुकेश गुप्ता ने सरस्वती स्वरूपा स्वामिनी संयुक्तानंदा के साथ सभी का आभार व्यक्त किया।