झांसी। जिले के टहरौली व बड़ागांव में दो किसानों ने कर्ज चुका पाने की उम्मीदों पर ग्रहण लगने से परेशान होकर आत्महत्या कर ली।

टहरौली थाना क्षेत्रांतर्गत ग्राम ताईजागीर निवासी किसान कमल पाल (58) ने किसान क्रेडिट कार्ड के जरिये बैंक से 2.60 लाख रुपये का कर्ज ले रखा था। इसके अलावा गांव के लोगों से भी उन्होंने कर्ज लिया था। उसने अपनी 11 बीघा जमीन में से पांच बीघा में गेहूं और छह बीघा में मटर की बुवाई की थी। लेकिन, उत्पादन उम्मीद के विपरीत काफी कम हुआ। इससे पर वह काफी परेशान हो गया क्योंकि क़र्ज़ चुकाना मुश्किल था। 16 अप्रैल को किसान ने घर में कीटनाशक खाकर जान दे दी। जब परिवार के लोग पहुंचे तो दरवाजा अंदर से बंद था। खटखटाने पर दरवाजा नहीं खुला। इस पर दरवाजा तोड़कर परिजनों ने भीतर प्रवेश किया। अंदर कमल पाल चारपाई पर बेसुध अवस्था में पड़ा था। चारपाई के नीचे कीटनाशक का डिब्बा पड़ा हुआ था। इस पर परिजन उन्हें आनन-फानन मेडिकल कॉलेज लेकर भागे। यहां इलाज के दौरान बीती रात उसकी मौत हो गई। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम हेतु भेज दिया।

इसी प्रकार जिले के बड़ागांव थाना क्षेत्र अंतर्गत जौरी बुजुर्ग निवासी किसान मंगल सिंह (28) अपनी पत्नी वीनिता के साथ मंगलवार की रात खेत पर गेहूं की थ्रेसिंग कर रहा था। इस दौरान मंगल सिंह थ्रेसिंग छोड़ कर खेत पर कहीं चला गया। काफी देर तक वह नजर नहीं आया तो पत्नी ने उनकी तलाश शुरू कर दी। इसी दौरान मंगल का शव खेत पर लगे आम के पेड़ के सहारे रस्सी पर झूलता मिला।

परिजनों ने कुल्हाड़ी से रस्सी काटकर शव को नीचे उतारा और पुलिस को सूचना दी। परिजनों के अनुसार मंगल सिंह पर सात-आठ लाख रुपये का कर्ज था और उसे चुकाने का रास्ता दिखाई नहीं दे रहा था। इससे वह परेशान रहता था। इसी परेशानी में उसने आत्मघाती कदम उठा लिया। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम हेतु भेज दिया।