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झांसी। ट्रेन से अपने बेटे के साथ गोवा से संतकबीर नगर स्थित अपने घर जा रहा एक बीमार व्यक्ति की घर पहुंचने की उम्मीद सांसों के साथ टूट गई। यात्रा में उसने अंतिम सांस अपने बेटे की गोद में ली।

उत्तर प्रदेश के संतकबीर नगर के थाना दुधारा क्षेत्र के पिपराहा दोमन निवासी राजकुमार (59) गोवा में फर्नीचर का काम करते थे। बेटे सतीश ने बताया कि पिछले लगभग पंद्रह दिनों से उनकी तबीयत खराब चल रही थी। जानकारी होने पर वह गोवा पहुंचा और वहां पिता का इलाज कराया। हालत में सुधार नहीं हुआ तो इसके बाद वह पिता को वापस अपने घर संतकबीर नगर ले जा रहा था। बुधवार को दोनों ट्रेन में सवार हुए थे। ट्रेन में वह लगातार पिता की देखभाल करता आ रहा था। उनके सिर को गोद में रख वह सहला रहा था, ताकि वह आराम से लेटे रहें, लेकिन ट्रेन के बीना से आगे बढ़ने की पर उनकी मृत्यु हो गई।

इसकी सूचना मिलने पर गाड़ी के झांसी आने पर कोच से राजकुमार के शव को जीआरपी ने उतारा और पोस्टमार्टम के बाद शुक्रवार को शव परिजनों के हवाले कर दिया गया। जानकारी होने पर संतकबीर नगर से अन्य रिश्तेदार भी पोस्टमार्टम हाउस पहुंच गए थे। पोस्टमार्टम के बाद वे शव को लेकर रवाना हो गए।