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झांसी। विशेष न्यायधीश अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति अत्याचार निवारण झांसी धीरेंद्र कुमार तृतीय की अदालत में 14 वर्ष पूर्व कोतवाली थाना क्षेत्र में गैर इरादत हत्या का दोष सिद्ध होने पर तीन अभियुक्तों को दस दस वर्ष का कारावास और डेढ़-डेढ़ लाख रुपए जुर्माना से दंडित किया गया है।

अभियोजन की ओर से पैरवी कर रहे शासकीय अधिवक्ता केशवेंद्र प्रताप सिंह/ कपिल करौलीया ने जानकारी देते हुए बताया कि सात अप्रैल 2010 को नई बस्ती निवासी सुरेंद्र कुमार अहिरवार ने थाना कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराते हुए बताया था कि वह घर के बाहर खड़ा था तभी मोहल्ले के रहने वाले नरेंद्र कुशवाह, देवेंद्र कुशवाह, राजकुमार अहिरवार, विजय अहिरवार ने रूपयो के लेन देन को लेकर उसकी मारपीट शुरू कर दी। सुरेंद्र ने खुद को बचाने के लिए शोर मचाया तो उसकी मां तथा भाई काजू दौड़ कर आया और उसे बचाने का प्रयास करने लगा तो हमलावरों ने चाकू निकाल कर काजू के पेट में मार दिया और उस पर भी हमला किया। जिससे वह ओर उसका भाई गंभीर रूप से घायल हो गए। दोनों को उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां काजू की मौत हो गई।

पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोपियों को जेल भेजते हुए न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल कर दिया था। इस मामले में ट्रायल के दौरान एक आरोपी नरेंद्र की मौत हो चुकी है। आज न्यायालय ने अभियोजन की ओर से हुई ठोस पैरवी के चलते आरोपियों पर गैर इरादतन हत्या का दोष सिद्ध होने पर देवेन्द्र, राजकुमार और विजय को दस दस वर्ष का कारावास व पचास पचास हजार रुपए अर्थदंड अदा करने का फैसला सुनाया।