महिला व पुरुष बंदियों की रचनात्मक प्रतिभा में विकास हेतु जेल में कौशल विकास केन्द्र का उद्घाटन

झांसी। राज्यमंत्री स्वतन्त्र प्रभार कारागार एवं होमगार्ड विभाग, उ0प्र0 धर्मवीर प्रजापति द्वारा झांसी जिला कारागार का औचक निरीक्षण करते हुए बंदियों से अपराध से तौबा कर अपने आचरण एवं व्यवहार से सुधार जाने के लिये अपील की। उन्होने बताया कि बंदी सृजनात्मक क्षमता का अधिकतम उपयोग करते हुये अपने रचनात्मक को प्रोत्साहित करने का कार्य करें। अधिकांश कैदी सिलाई, कटाई एवं बुनाई एवं रचनात्मक कार्यो में दक्ष होते है। उनकी इस प्रतिभा का सदुपयोग करना चाहिए। बंदियों से तैयार रचनात्मक उत्पादों को बाजार में विक्रय कर राजस्व अर्जन का कार्य किया जा सकता है। उन्होने कहा कि जेल में अधिकारी बंदियों से नियमित अंतराल में संवाद करते रहे। इससे उनकी मनोदशा में सुधार होगा, साथ ही जेल परिसर के वातावरण में भी बेहतर परिवर्तन देखने को मिलेंगे।

उन्होंने कहा कि इस कारागार में 80 प्रतिशत बंदी 20 से 30 आयु वर्ग के है, आज इस अवस्था मे होने का मुख्य कारण आपकी गलत संगत हैं, माता-पिता ने अपनी आर्थिक क्षमता के अनुरुप आपको शिक्षा दिलायी किन्तु जब उनके सपने साकार करने का समय आया तो गलत संगत के भलीभूत होकर आपने आपराधिक रास्ता अपना लिया। उन्होने बंदियों से कहा कि माता-पिता को दुख देकर आज तक कोई भी व्यक्ति सुखी नही रहा है।  उन्होंने बंदियों से अपील की कि सजा पूरी होने के उपरान्त इस कारागार से बाहर निकलने के पश्चात आप फिर कभी आपराधिक कृत्य न करें।
इस दौरान उन्होने पुरुष एवं महिलाओं बंदियों से वार्ता कर जायजा लिया, साथ ही जेल अधिकारियों को बंदियों की समस्याओं के निस्तारण हेतु निर्देशित करते हुये कहा कि कारागार में सफाई व्यवस्था दुरुस्त रखे ताकि बंदियों को दिये जाने भोजन की गुणवत्ता को भी ठीक रखें।
निरीक्षण में सर्वप्रथम उन्होने जेल अधीक्षक कक्ष में लगे सीसीटीवी कैमरों की निगरानी सम्बन्धी मॉनीटर का अवलोकन किया। यहां पर जेल अधीक्षक को निर्देश दिये कि कार्यालय में देश के राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्री का चित्र अनिवार्य रुप से लगायें। मौके पर उन्होने जेल परिसर में बंदियों के मनोदशा में सुधार हेतु कराये जा रहे गायत्री शक्तिपीठ हवन का शुभारम्भ किया तथा जेल में चल रहे सुन्दरकाण्ड पाठ का श्रवण भी किया।
इसके पश्चात मंत्री जी ने जेल परिसर में पौधारोपण किया, साथ ही परिसर में स्थापित कौशल विकास प्रशिक्षण केन्द्र का उद्घाटन किया। यहां पर डिप्टी जेलर सुरेश शर्मा द्वारा बताया गया कि इस कौशल विकास प्रशिक्षण केन्द्र में दो कक्ष महिला एवं पुरुष बंदियों के लिये अलग-अलग तैयार किये गये है जिसमें से प्रत्येक कक्ष में 27 बंदियों को सिलाई, कढ़ाई, बुनाई, कम्प्यूटर एवं कार्बोनिक कृषि सम्बन्धी प्रशिक्षण किया जायेगा। जिससे बंदियों को सृजनात्मक एवं रचनात्मक ज्ञान की प्राप्ति हो सकें तथा वह इस प्रशिक्षण को प्राप्त कर जिला कारागार में अपनी सजा पूरी होने के उपरान्त समाज में जीवन की एक नई शुरुआत कर सकें। इस कारागार में महिला बंदियों द्वारा सरकार के हर घर तिरंगा अभियान में सहयोग करते हुये राष्ट्रध्वज तैयार करने का कार्य किया जा रहा है।
निरीक्षण के दौरान उप जिलाधिकारी सदर अतुल कुमार, सीओ सिटी सदर राजेश राय, जेल अधीक्षक रंगबहादुर पटेल, डिप्टी जेलर सुरेश मिश्रा, सुभाष चन्द्र पाण्डेय, रामनरेश गौतम, यदुवीर चौहान, महिला डिप्टी जेलर बीना वाजपेयी सहित जेल प्रशासन के अधिकारी एवं अन्य कर्मचारी भी उपस्थित रहे।