झांसी चाइल्ड लाइन ने दादा को पोती – पौत्र को सौंपा, पिता के विरुद्ध होगी कार्रवाई 

झांसी। बुधवार को एक पिता द्वारा अपने बच्चों के साथ किये गये क्रूरता पूर्ण व्यवहार का मामला न्यायपीठ बाल कल्याण समिति के समक्ष प्रस्तुत हुआ । बच्चे द्वारा दी गयी जानकारी के आधार पर समिति की सदस्य परवीन खान एवं चाइल्ड लाइन कोआर्डिनेटर बिलाल उल हक के प्रयास से बच्चों के दादा का पता चल गया और उनकी तीन वर्षीय पोती व नौ वर्षीय पौत्र को दादा के संरक्षण में सौंपने के आदेश न्यायपीठ द्वारा जारी कर दिये गये।

झांसी निवासी हरीश चन्द्र ने बताया कि उनके सबसे छोटे बेटे प्रशान्त का विवाह उल्दन के एक मध्यम वर्गीय किसान की पुत्री से दस वर्ष पूर्व हुआ था पुत्र इन्दौर में अपने परिवार के साथ रहते हुए जीवन यापन कर रहा था। अचानक डेढ़ वर्ष पूर्व पत्नि की मृत्यु हो जाने से प्रशान्त ने इन्दौर छोड़ दिया और अपने दो बच्चों तीन वर्षीय पुत्री व नौ वर्षीय पुत्र को लेकर दूसरे शहर चला गया। कुछ समय बाद उसने दूसरी शादी कर ली और बच्चों को बोझ समझते हुए उसने उन्हें अलवर राजस्थान में छोड़ दिया । बच्चों के दादा ने बताया कि उनके पुत्र ने उन्हें फोन से बताया था कि बच्चों को उनके मामा के घर उल्दन (झांसी) में छोड़ दिया है।

अलवर में बच्चों को लावारिस भटकते देख एक व्यक्ति ने दोनों बच्चों को 9 सितम्बर 2023 को अलवर पुलिस के सामने पेश किया। पुलिस ने बच्चों को बाल कल्याण समिति अलवर के समक्ष प्रस्तुत किया। बाल कल्याण समिति अलवर ने बच्चों को बाल गृह भेज दिया। बालकों ने पूछताछ में अपना निवास झांसी बताया। इसी आधार पर बाल कल्याण समिति अलवर ने बच्चों को बाल कल्याण समिति झांसी में पेश करने के लिए भेज दिया। यहाँ न्यायपीठ की सदस्य परवीन खान ने जब बच्चों से पूछताछ की तो बच्चों के दादा की जानकारी हुई।

अध्यक्ष राजीव शर्मा ने बताया कि बच्चों के दादा को बुलाकर उन्हें बच्चों को सौंप दिया गया है। बच्चों के पिता की जानकारी मिलने पर इस क्रूरता के लिए उनके विरुद्ध विधिक कार्यवाही की जायेगी। कार्यवाही के दौरान वन स्टाप सेंटर प्रभारी प्रीति त्रिपाठी, उप निरीक्षक प्रियंका यादव, न्यायपीठ सदस्य कोमल सिंह, परवीन खान, चाइल्ड लाइन प्रभारी बिलाल उल हक उपस्थित रहे।