झांसी। लगभग ढाई साल पहले अपहृत की गई किशोरी अब मां बनकर लौटी तो परिजनों ने रखने से हाथ खड़े कर दिए। है। इस मामले में गिरफ्तार किए गए उसके प्रेमी मामा को अदालत में पेश किया। वहां से उसे जेल भेज दिया। वहीं, परिजनों ने अपहृत लड़की को अपनाने से मना कर दिया है।

जिले में पूंछ थाना क्षेत्र के ग्राम में रहने वाले एक महिला ने ढाई साल पहले थाने में लिखित तहरीर देते हुए बताया था कि जालौन के थाना आटा के ग्राम बम्हरौली में रहने वाला एक युवक उसके घर आता जाता था। वह उसकी देवरानी का भाई है। अक्सर घर पर आकर रुकता था। यहां आकर युवक उसकी 12 साल की बेटी से बातचीत करता था। मौका देखकर देवरानी का भाई उसकी नाबालिग पुत्री को भगाकर ले गया था। पुलिस ने अरविन्द के खिलाफ दफा 366, 363 के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया था।

इस मामले में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राजेश एस, एसपी ग्रामीण गोपीनाथ सोनी, सीओ मोंठ हरीमोहन सिंह के निर्देशन में पूंछ थाना प्रभारी जेपी पाल के नेतृत्व में एस आई दिलीप कुमार पांडेय, उपनिरीक्षक बलवीर सिंह, एसआईयूटी सूरज कुमार शाक्य और महिला आरक्षी पूजा चौधरी को रखा गया था। टीम ने लड़के व लड़की की खोजबीन की। जांच में पता चला कि दोनों हरियाणा के गुड़गांव के मानसेर के थाना सेक्टर  सात के ग्राम खोह में रह रहे हैं। वहां पर अरविंद मजदूरी कर रहा है। इस सूचना पर गई पुलिस टीम ने स्थानीय पुलिस के सहयोग से वहां पर छापा मारा। इस दौरान कमरे में नाबालिग लड़की गोद में बच्चे को खिलाते मिली।

पुलिस ने लड़की से पूछा तो उसने कहा कि यह बेटा उसका है। इसके बाद दोनों को पूंछ थाना लाया गया। इसकी जानकारी लड़की के परिजनों को दी। परिजनों ने कहा कि उनकी चार बेटियां पहले से ही हैं। इस बेटी का भरण पोषण कैसे करेंगे, क्योंकि मां बनकर लौटी है। परिजनों ने मां बनकर लौटी लड़की को रखने के लिए मना कर दिया। वहीं, पुलिस ने आरोपी अरविंद को अदालत में पेश किया। वहां से उसे जेल भेजा गया। इस मामले में लड़के के परिजनों का कहना है कि अरविंद की खुद गलती हैं, क्योंकि वह भांजी को भगाकर ले गया था। इसलिए वह मां बनकर लौटी है। जब वह घर से भागी थी तो उस समय 14 साल थी। अब ढाई साल बाद लौटी है तो वह 17 साल की है। उधर, पुलिस का कहना है कि अदालत में  किया जाएगा। बयान के आधार पर लड़की को संबंधित स्थान पर भेजा जाएगी ।