झांसी। झांसी मंडल ने रेलवे अवसंरचना के आधुनिकीकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। मंडल रेल प्रबंधक दीपक कुमार सिन्हा के मार्गदर्शन में मंगलवार को बसई-माताटीला-तालबेहट- बिजरोठा 23.1 किलोमीटर रेलखंड में ऑटोमैटिक ब्लॉक सिग्नलिंग प्रणाली की कमीशनिंग का कार्य सफलतापूर्वक संपन्न किया गया।
इस ऐतिहासिक संस्थापन के साथ ही बिजरौठा-आंतरी स्टेशन के मध्य लगभग 132 किलोमीटर रेलखंड पर अत्याधुनिक ऑटोमैटिक ब्लॉक सिग्नलिंग प्रणाली स्थापित हो गई है। इससे रेल परिचालन की क्षमता और सुरक्षा में उल्लेखनीय वृद्धि होगी। इसी के साथ दो समपार फाटक संख्या 341 और 349 को भी ऑटोमेटिक सिग्नलिंग के साथ इंटरलॉक्ड किया गया है जिससे समपार फाटक पर अधिकतम संरक्षा सुनिश्चित की जा सके I यह संस्थापन अत्याधुनिक संरक्षा “कवच” प्रणाली के संस्थापन में भी महत्वपूर्ण सहायता प्रदान करेगा I
यह कार्य परिचालन विभाग के सहयोग से 120 मिनट के ब्लॉक में संपन्न किया गया। ऑटोमैटिक सिग्नलिंग कार्य के साथ ही चारों स्टेशनों पर इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग कार्य में महत्वपूर्ण बदलाव भी किए गए हैं।
महत्वपूर्ण विशेषताएँ:
✅ मुख्य रेल लाइन की संचालन क्षमता में वृद्धि
✅ ट्रेनों की सुरक्षा और संचार प्रणाली में सुधार
✅ आधुनिक तकनीक के माध्यम से निर्बाध रेल परिचालन सुनिश्चित करना
झाँसी मंडल द्वारा किए गए इस कार्य से न केवल रेलवे की कार्यक्षमता में वृद्धि होगी, बल्कि यात्रियों को भी अधिक सुरक्षित और सुगम रेल यात्रा का अनुभव प्राप्त होगा।
इस महत्वपूर्ण कार्य के दौरान मुख्य सिग्नल एवं दूरसंचार इंजीनियर/प्रोजेक्ट/मुख्यालय भोलेंद्र सिंह, वरिष्ठ सिग्नल एवं दूरसंचार इंजीनियर समन्वय नरेंद्र सिंह, उप मुख्य सिग्नल एवं दूरसंचार इंजीनियर/प्रोजेक्ट मयंक अग्रवाल और अमित गोयल, वरिष्ठ मंडल परिचालन प्रबंधक जे संजय कुमार सहित परिचालन और सिग्नल एवं दूरसंचार विभाग के कर्मियों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।