• खदान मालिक के खिलाफ रिपोर्ट, शव रख कर लगाया जैम
    झांसी। जनपद के बड़ागांव थाना क्षेत्र के गोरामछिया में कई क्रेशर और पत्थर की खदानें हैं। इनमें सैकड़ों मजदूर काम करते हैं। इनमेें से एक खदान पर बड़ागांव के ग्राम छपरा निवासी २५ वर्षीय मिथुन कुशवाहा व २४ वर्षीय राजीव भी काम करते हैं। ६ जून को सायं ७ बजे गोरामछिया निवासी मोहर सिंह यादव दोनों को खदान पर काम कराने की कह कर अपने साथ ले गया। इसके बाद दोनों वापस अहपने घर नहीं लौटे। दरअसल, रात में खदान पर पत्थर तोडऩे के लिए की गयी ब्लास्टिंग की चपेट में आकर दोनों मजदूरों की दर्दनाक मौत हो गयी। तड़के अन्य श्रमिक दोनों के शव लेकर मेडिकल कालेज पहुंचे और वहीं छोड़ कर भाग निकले। परिजनों के अनुसार उनके पास आज प्रात: ४ बजे फोन आया जिसमें बताया गया कि दोनों बेहोशी हालत में मेडिकल कालेज में पड़े हैं। जब वह लोग मेडिकल कालेज पहुंचे तो वहां दोनों के शव मिले। इसकी जानकारी गांव में लगते ही सनसनी मच गयी और ग्रामीणों की भीड़ मेडिकल कालेज पहुंच गयी। सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और शवों को कब्जे मेें लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। मृतक के परिजनों ने मोहर सिंह पर आरोप लगाया कि सफाई के बहाने ले जाकर दोनों से ब्लास्टिंग करायी गयी जिसके कारण उनकी मौत हो गयी। मृतक के परिजनों द्वारा खदान मालिक के खिलाफ मुकदमे तहरीर दे दी गई।
    मानकों की अनदेखी
    परिजनों का आरोप है कि पत्थर की खदान में ब्लास्टिंग कर पत्थर तोड़ा जाता है। इसमें सुरक्षा मानकों की अनदेखी होने के कारण आए दिन घटनाएं घटित होती रहती हैं। उन्होंने खदान मालिक के खिलाफ कार्यवही करने व मुआवजा दिलाने की मांग की। पोस्टमार्टम हो जाने के बाद शवों को ले जाकर ग्रामीणों ने कानपुर-झांसी हाइवे पर रख कर मुआवजा की मांग की। इसके कारण वाहनों की कतारें लग गयीं। मौके पर पहुंची पुलिस द्वारा प्रदर्शनकारियों को समझा कर कार्यवाही का आश्वासन दिया जब जाम खुल सका।