– आईजीआरएस के लंबित संदर्भ व गुणवत्ता विहीन निस्तारण पर स्पष्टीकरण तलब
झांसी। जिलाधिकारी आंंद्रा वामसी द्वारा आईजीआरएस में प्राप्त शिकायतों के निस्तारण की समीक्षा करते हुए डिफॉल्टर व गुणवत्ता विहीन निस्तारित शिकायतों पर सख्त नाराजगी व्यक्त कर संबंधित अधिकारियों से स्पष्टीकरण लिए जाने के निर्देश दिए। तत् क्रम में आज अपरजिलाधिकारी संजय कुमार पांडेय की अध्यक्षता में विकास भवन सभागार में आइजीआरएस, मुख्यमंत्री हेल्पलाइन के डिफाल्टर सन्दर्भ व महत्वपूर्ण विभागों की समीक्षा बैठक आयोजित की गई ।
अपर जिलाधिकारी ने सर्वप्रथम विभागों के लंबित संदर्भों की जानकारी ली और आवश्यक दिशा निर्देश देते हुए कहा कि आईजीआरएस के संबंध में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी, इसकी समीक्षा शासन स्तर पर लगातार की जाती है सभी विभाग प्रतिदिन अपने स्तर से समीक्षा अवश्य करें और गुणवत्ता पूर्ण निस्तारण करें। उन्होंने कहा कि आईजीआरएस में किया गया निस्तारण गुणवत्ता पूर्ण होना चाहिए, यदि निस्तारण की गुणवत्ता सही नहीं है तो शिकायत का निस्तारण नहीं माना जाएगा । उन्होंने निर्देश देते हुए कहा कि शिकायत कर्ता से फोन पर बात की जाए और पूछा जाए कि आप निस्तारण से संतुष्ट हैं या नहीं ।
अपर जिलाधिकारी ने नगर निगम वह जल संस्थान में डिफॉल्टर प्रकरणों के संबंध में कड़ी नाराजगी व्यक्त की व डिफाल्टर संदर्भो के संबंध में आने वाली समस्या की भी जानकारी ली और निर्देश दिए कि यदि कोई समस्या है तो उच्च अधिकारियों को अवगत कराएं ताकि सभी शिकायतों का निस्तारण समय से किया जा सके। उन्होंने समस्त अधिकारियों को ताकीद करते हुए कहा कि प्राप्त शिकायतों के निस्तारण में किसी भी प्रकार की हीलाहवाली ना की जाए, शिकायत का निस्तारण गुणवत्तापरक हो। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कॉल सेंटर से लगातार फीडबैक लिया जा रहा है, इस स्थिति में निस्तारण समय से और गुणवत्ता परक किया जाना सुनिश्चित किया जाए।
उन्होंने बैठक में मुख्यमंत्री कॉल सेंटर से लगभग 38 विभागों के प्राप्त संदर्भों के सापेक्ष फीडबैक की जानकारी देते हुए कहा कि सबसे अधिक जिला समाज कल्याण अधिकारी, समाज कल्याण विभाग की स्थिति बेहद असंतोषजनक है। ऐसी ही मिलती जुलती स्थिति अन्य विभागों की है। उन्होंने सभी विभागों से तत्काल सुधार लाए जाने के निर्देश दिए, उन्होंने विद्युत, सिंचाई, डूडा, श्रम प्रवर्तन, संभागीय परिवहन अधिकारी, जिला प्रोबेशन, बेसिक शिक्षा, लघु सिंचाई, सहायक आयुक्त एवं सहायक निदेशक सहकारिता सहित समस्त अधिकारियों को निर्देशित किया कि शिकायतों के निस्तारण के पश्चात शिकायतकर्ता से अवश्य जानकारी ली जाए कि वह निस्तारण से संतुष्ट है या नहीं, यदि शिकायतकर्ता शिकायत के निस्तारण से संतुष्ट नहीं हैं तो उस शिकायत का निस्तारण नहीं माना जाएगा। इस अवसर पर डीएफओ विष्णु कांत मिश्रा, सीएमओ डा.जी के निगम, जिला विकास अधिकारी सुनील कुमार, अपर नगर आयुक्त शादाब असलम, अधिशासी अभियंता विद्युत शैलेंद्र कटियार, मनोज कुमार राय सहित समस्त विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।