• फिल्म का कथानक व कलाकारों का अभिनय दर्शकों को बांधे रहा
    झांसी। उमंग-एक नई उड़ान गु्रप द्वारा निर्मित फिल्म ड्राई-डे में झांसी के कलाकारों का जोश-जुनून देखने को मिला। शुरू से लेकर अंत तक फिल्म का कथानक व कलाकारों का अभिनय दर्शकों को बांधे रहा। फिल्म मेें कहीं से नहीं लगा कि यह सीमित संसाधनों में बनायी गयी है।
    दरअसल, राजकीय संग्रहालय सभागार कक्ष में उमंग-एक नई उड़ान गु्रप द्वारा निर्मित फिल्म ड्राई-डे की स्क्रीनिंग की गई। निर्माता कौस्तव रंजन की इस फिल्म में बुन्देलखण्ड में माया नगरी मुम्बई का सपना संजोय कलाकारों की टोली की मेहनत दिखाई दी। आतंकवाद पर आधारित इस लघु फिल्म के माध्यम से देश भक्ति का संदेश दिया गया है। फिल्म में देश के प्रति समर्पित रहने व शांति बनाये रखने एवं किसी के बहकावे में नहीं आने के लिए प्रेरित किया गया। फिल्म में दिखाया गया है कि किस तरह जिहाद को जरिया बनाकर आतंकवादी शहर व देश को तोडऩे की कोशिश करते हैं परंतु कुछ जबांज आफिसर की बजह से नाकाम हो जाते हैं।
    शुरू से लेकर अंत तक इस फिल्म के कथानकने दर्शकों को बांधे रखा, सभी पात्रों का अभिनय सजीव रहा। फिल्म के डायलाग में गाली-गलौज का प्रस्तुतिकरण दाल मेें कंकड़ की तरह अखरा। कुल मिला कर झांसी की विविध लोकेशन पर बनी इस लघु फिल्म का निर्माण कर काफी अच्छा सफल प्रयास कहा जा सकता है। कलाकारों में हरीश शर्मा, रामस्वरूप चक, मातादीन, सुंदर लिखार, रवि रायकवार, प्रशांत शुक्ला, कौस्तव निरंजन, मनोज शर्मा, देवदत्त बुधौलिया, अफसर खान, आर्यन ठाकुर, आनंद सागर, सागर वाधवानी, दिनेश कुमार, मंजू अस्थाना सहित कई कलाकार मौजूद रहे। स्क्रीनिंग का शुभारम्भ मुख्य अतिथि इं. भरत सिंह यादव व विशिष्ट अतिथि मधुकर निरंजन के पुत्र, गजल गायक जसवंत सिंह, फिल्म अभिनेता आरिफ शहडोली, अजय साहू, देवदत्त बुधौलिया आदि के अलावा इस मौके पर नवनीत मिश्रा तथा अतिथिगण, गीतिका बेदिका, आरिफ, सीमा सोलंकी सहित कई लोग मौजूद रहे।