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एएसआई का कमरे में मिला शव, गणतंत्र दिवस परेड में डॉग स्क्वायड का प्रतिनिधित्व किया था 

झांसी। प्रेमनगर थाना क्षेत्र में आरपीएफ की क्राइम ब्रांच में तैनात डाग स्क्वायड में हेण्डलर/एएसआई ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। घटना की जानकारी होने पर पुलिस ने मौके पर पहुंच कर शव को कब्जे में लेते हुए पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है।

आरपीएफ क्राइम ब्रांच में तैनात प्रेमनगर थाना क्षेत्र के खेरा / नगरा निवासी 57 वर्षीय भगवानदास वर्मा डॉग स्क्वायड में हेण्डलर थे । गुरुवार को वह ड्यूटी पर डाग स्क्वायड सेंटर पर थे। घर से वह सेंटर में ही रुकने की बात कहकर निकले थे। सेंटर में रात को खाना खाने के बाद वह अपने कमरे में सोने चले गए। सुबह उनके साथियों ने जब कमरा खाली देखा तो सोचे कि वह कहीं बाहर निकल गए होंगे। लेकिन काफी देर तक जब वह नहीं लौटे तो उनके मोबाइल पर फोन किया लेकिन फोन नहीं उठा। इसी दौरान साथी कर्मियों की नजर बाहर से खुले स्टोर रूम के ताले पर पड़ी, जिसके बाद उन्होंने उसका दरवाजा खोलने का प्रयास किया। लेकिन दरवाजा अंदर से बंद था। बगल की खिड़की से अंदर झांक कर देखा तो भगवानदास फांसी के फंदे पर झूल रहे थे। यह देख कर आरपीएफ धिकारियों को घटना की सूचना दी गई।

इस पर आरपीएफ कमांडेन्ट विवेकानंद नारायण, सहायक सुरक्षा आयुक्त कृष्णानंद तिवारी सहित पोस्ट प्रभारी निरीक्षक रवीन्द्र कुमार कौशिक, आरपीएफ निरीक्षक शिप्रा क्राइम ब्रांच श्वान दस्ता आरपीएफ मौके पर पहुंचे। उन्होंने घटनास्थल का निरीक्षण किया।

सूचना मिलने पर प्रेमनगर थाने की पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने शव को कब्जे लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए मेडिकल कॉलेज भेजा गया। मृतक के दो बेटे और एक बेटी है। भगवान दास ने हाल ही में सीनियर इंस्टीट्यूट में रेलवे की गणतंत्र दिवस की परेड में डाग स्क्वायड का प्रतिनिधित्व किया था। उन्होंने किन परिस्थितियों में मौत को गले लगाया स्पष्ट नहीं हुआ है। हालांकि एएसआई के बेटे का कहना है कि पिता पर 60 से 65 लाख का कर्ज था, जिसको लेकर वह परेशान रहते थे और वह कर्ज चुकाने की स्थिति में भी नहीं थे। इसी के चलते उन्होंने यह कदम उठा लिया। इस घटना से परिवार में कोहराम मचा हुआ है।